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बेमौसम बारिश से ख़राब हुई फसल के लिए सिर्फ 129 रूपये मिला मुवावजा राशि

बेमौसम बारिश और बाढ़ की वजह से हजारो किसानो की फसले ख़राब होती है। और सरकार की तरफ से प्राकृतिक आपदा में किसानो की मदद के लिए प्रधानमंत्री किसान बीमा योजना चलाई गई है। जिसके तहत किसानो को फसल के नुकसान होने पर मुवावजा राशि जारी की जाती है। इस योजना के तहत फसल के ख़राब होने पर बीमा कंपनी के द्वारा किसान को भुगतान किया जाता है। और नुकसान की जानकारी किसान को बीमा कंपनी को 72 घंटे के अंदर देनी होती है। लेकिन कई बार इस योजना के तहत ऐसे मामले सामने आ जाते है जो की मजाक के पात्र बन जाते है। ऐसा ही एक मामला इटावा उत्तर प्रदेश में आया है

उत्तर प्रदेश राज्य के इटावा जिले में खरीफ की फसल के लिए 12315 किसानो ने फसल बीमा करवाया था और इटावा के चकरनगर क्षेत्र में चम्बल और यमुना नदी पड़ती है। और इन नदियों में पानी अधिक होने से इन किसानो की फैसले ख़राब हो गई थी लेकिन किसानो ने इन फसलों का बीमा करवाया था तो वो निश्चिंत थे लेकिन अब बीमा कंपनी की तरफ से जब मुवावजा राशि जारी की गई तो किसानो की परेशानी बढ़ गई। इन फसलों के लिए किसानो को 129 रूपये का मुवावजा राशि जारी करके किसानो के साथ मजाक किया गया है

यूनिवर्सल सोम्पो जनरल इन्शुरन्स

इन किसानो ने यूनिवर्सल सोम्पो कंपनी के तहत फसलों का बीमा करवाया था। और इस कंपनी को किसानो की फसलों का बीमा करने के बाद प्रीमियम के तौर 3 करोड़ रूपये मिले थे। जो किसानो ने जमा किये थे। चकरनगर के किसानो को ख़राब हुई फसलों के मुवावजे के तौर पर मिले 129 रूपये से उनकी सवेदना के साथ खिलवाड़ किया गया है। बीमा करवाने वाले दो दर्जन किसान ऐसे जिनको इस बीमा कंपनी की तरफ से 500 रूपये से भी कम मुवावजा राशि जारी की गई है

डिभौली के किसान दिव्यांग होम सिंह के पास दो बीघा जमीं है और उस जमीं पर उन्होंने बाजरे की फसल की बिजाई की थी जो बाढ़ की वजह से ख़राब हो गई थी और उन्होंने बीमा कंपनी से इसका बीमा करवाया था। अब बीमा कंपनी की तरफ से उनको 342 रूपये मुवावजा राशि जारी की गई है किसानो का कहना है की इससे अच्छा तो मुवावजा राशि देनी ही नहीं चाहिए थी इससे हमारे मान सम्मान को धक्का लगा है। इससे राशि से बीज भी नहीं आता है मजदूरी की तो बात ही दूर है।मुवावजा राशि

डिभौली गांव के ही राकेश कुमार ने भी 5 बीघे जमीन पर बाजरे की बुआई की थी और उसकी फसल पक कर पूर्ण तैयार हो चुकी थी लेकिन यमुना और चम्बल नदी में पानी अधिक होने से बाढ़ के कारन उनकी पूरी फसल ख़राब हो गई और अब बीमा कंपनी की तरफ से सिर्फ उनको 129 रूपये का मुवावजा राशि जारी की गई है। लेकिन उनकी फसल यदि बाढ़ में ख़राब नहीं होती तो उनको 30 हजार रूपये तक की फसल का उत्पादन होना था। मुवावजे के नाम पर हमारे साथ मजाक किया गया है। इससे हम आहात है

कृषि विभाग का क्या कहना है

कृषि उपनिदेशक डॉ RN सिंह के मुताबिक फसल का बीमा करवाना किसान की मर्जी से होता है। और जितना नुकसान होता है उसके अनुसार राशि जारी की जाती है। यदि किसी किसान को कम मुवावजा राशि जारी की गई है तो इसकी जाँच की जाएगी। यदि कही लापरवाही हुई है तो किसान को पूरी राशि दिलाने की पूरी कोशिश रहेगी

Vinod Yadav

विनोद यादव हरियाणा के रहने वाले है और इनको करीब 10 साल का न्यूज़ लेखन का अनुभव है। इन्होने लगभग सभी विषयों को कवर किया है लेकिन खेती और बिज़नेस में इनकी काफी अच्छी पकड़ है। मौजूदा समय में किसान योजना वेबसाइट के लिए अपने अनुभव को शेयर करते है। विनोद यादव से सम्पर्क करने के लिए आप कांटेक्ट वाले पेज का इस्तेमाल कर सकते है।

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